आंखें शरीर के सबसे खास अंगों में से एक हैं। इनकी मदद से ही आप दुनिया की सभी चीजों को देखते और अनुभव करते हैं। उम्र बढ़ने, आंखों में चोट लगने, लेंस खराब होने और कॉर्निया या ऑप्टिक नर्व में किसी तरह की समस्या पैदा होने पर आपके देखने की क्षमता प्रभावित होती है।
नतीजतन, आपको वस्तुएं साफ-साफ देखने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इस स्थिति को आम भाषा में blurry vision meaning in hindi दृष्टि का धुंधला होना कहा जाता है। विशेषज्ञ के अनुसार आमतौर पर Blindness In Hindi आंखों में धुंधलापन का कारण मोतियाबिंद, काला मोतियाबिंद, मायोपिया, हाइपरोपिया और एस्टिग्मेटिज्म होते हैं।
अगर आप इनमें से किसी भी बीमारी से पीड़ित हैं तो आपको वस्तुएं धुंधली दिखाई दे सकती हैं। ऐसी स्थिति में आपको जल्द से जल्द एक अनुभवी और विश्वसनीय नेत्र रोग विशेषज्ञ से परामर्श कर अपनी बीमारी का उचित जांच और इलाज कराना चाहिए।
आंखों में धुंधलापन का कारण
अगर आप नीचे दिए कारणों को ध्यान में रखकर कुछ सावधानियां बरतें तो अपनी दृष्टि को धुंधला होने से रोक सकते हैं। cataracts meaning in hindi आंखों में धुंधलापन के निम्नलिखित कारण हैं:-
01. मोतियाबिंद — Cataract Meaning In Hindi
मोतियाबिंद के कारण आंखों में धुंधलापन आना एक समस्या है। मोतियाबिंद को कैटरैक्ट भी Cataract Means in Hindi कहा जाता है और यह पूरी दुनिया में अंधेपन का सबसे बड़ा कारण माना जाता है। यह एक गंभीर स्थिति से जिससे पीड़ित होने पर लेंस में धुंधलापन छा जाता है जिसके कारण मरीज को वस्तुएं धुंधली दिखाई पड़ती हैं।
मोतियाबिंद कई कारणों से होता है जिसमें मोटापा, धूम्रपान करना, उच्च मायोपिया, हार्मोन रिप्लेसमेंट थेरेपी, शराब का अधिक सेवन, डायबिटीज होना, हाइपरटेंशन की शिकायत, आंखों में चोट लगना या सूजन होना, आंखों का पराबैंगनी किरणों के संपर्क में आना और आंखों की पहले कभी सर्जरी कराना एवं आनुवंशिक कारण आदि शामिल हैं।
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मोतियाबिंद के कारणों में दृष्टि का धीमा और धुंधला होना, (Night Blindness in Hindi) रात के समय कम दिखाई देना, Color Blindness in Hindi रंगों को पहचानने में परेशानी होना, रौशनी के प्रति संवेदनशीलता बढ़ना, चश्मे के नंबर में अचानक बदलाव आना, डबल विजन की शिकायत होना, ड्राइविंग करने में दिक्कत होना, तेज रौशनी में आंखें चौंधियाना और रौशनी के चारों तरह एक गोलाकार परछाई दिखाई देना आदि शामिल है।
02. काला मोतियाबिंद — Glaucoma Meaning In Hindi
काला मोतियाबिंद को Glaucoma Means in Hindi ग्लूकोमा के नाम से भी जाना जाता है। इस स्थिति से पीड़ित होने पर ऑप्टिक नर्व पर दबाव पड़ता है जिसके कारण यह खराब हो जाता है। ऑप्टिक नर्व का काम वस्तु के सिग्नल को दिमाग तक भेजना है जो आगे उन्हें उस इमेज के रूप में पेश करता है जो आप देखते हैं।
लेकिन ऑप्टिक नर्व खराब होने पर यह सिग्नल को दिमाग तक नहीं भेज पाता है और आपको चीजें धुंधली दिखाई पड़ती हैं। आपकी दृष्टि साफ होने के लिए लेंस, रेटिना, कॉर्निया और ऑप्टिक नर्व का स्वस्थ होना आवश्यक है। काला मोतियाबिंद को पूरी दुनिया भर में अंधेपन का दूसरा सबसे बड़ा कारण माना जाता है।
इसके मुख्य कारणों में बुढ़ापा, आंख की सर्जरी, आंखों में चोट लगना या सूजन होना, हाई ब्लड प्रेशर से पीड़ित होना, डाइलेटिंग आई ड्रॉप का इस्तेमाल करना, ऑप्टिक नर्व में ब्लड सर्कुलेशन कम होना और मायोपिया आदि शामिल हैं।
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काला मोतियाबंद के लक्षणों में जी मिचलाना, उलटी होना, सिर में दर्द होना, चक्कर आना, आंखें लाल होना, आंखों में तेज दर्द होना और रौशनी के चारों तरह एक गोलाकार परछाई दिखाई देना आदि शामिल हैं।
03. मायोपिया — Myopia Meaning In Hindi
इस स्थिति को Myopia Means in Hindi निकट दृष्टि दोष या निकटदर्शीता के नाम से भी जाना जाता है। मयोपिया से पीड़ित होने पर नजदीक की वस्तुएं साफ और दूर की वस्तुएं धुंधली दिखाई देती हैं। मायोपिया से पीड़ित होने पर आंख की पुतली का आकार सामान्य से अधिक बड़ा हो जाता है। नतीजतन, आंखों में जाने वाली रौशनी रेटिना पर केंद्रित होने के बजाय रेटिना से थोड़ा आगे केंद्रित हो जाती है।
मायोपिया के कारणों में काफी चीजें शामिल हैं जैसे कि आंख की पुतली का आकार बढ़ना, कॉर्निया का सुडौल होना, शराब और सिगरेट का अधिक सेवन करना, सूरज की रौशनी में कम से कम समय बिताना, लंबे समय तक टीवी, लैपटॉप और मोबाईल की स्क्रीन के सामने समय बिताना साथ ही साथ स्क्रीन और अपनी आंख के बीच आवश्यक दूरी का ख्याल नहीं रखना आदि।
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मायोपिया के मुख्य लक्षणों में बार-बार पालक झपकना, आंखों को मलना, दूर की वस्तुएं धुंधली दिखाई पड़ना, टीवी देखते या किताब पढ़ते समय बहुत करीब बैठना, आंखों पर दबाव पड़ना, आंखों में दबाव पड़ने के कारण सिर में दर्द होना, रात को गाड़ी चलाने में परेशानी होना और किसी वस्तु को साफ-साफ देखने के लिए आंखों को तिरछा करना या उन्हें लगभग बंद कर देना आदि शामिल हैं।
04. हाइपरोपिया — Hyperopia Meaning In Hindi
Hypermetropia Definition in Hindi हाइपरोपिया को दूर दृष्टि दोष और हाइपरमेट्रोपिया के नाम से भी जाना जाता है। इस बीमारी से पीड़ित मरीज को दूर की वस्तुएं साफ और नजदीक की वस्तुएं धुंधली दिखाई देती हैं। Hyperopia Meaning in Hindi हाइपरमेट्रोपिया होने पर आंख में जाने वाली रौशनी रेटिना पर केंद्रित होने के बजाय रेटिना के पीछे केंद्रित होती है, जिसके कारण मरीज को पास की वस्तुएं साफ-साफ दिखाई नहीं देती हैं।
हाइपरोपिया कई कारणों से होता है, Hypermetropia Meaning in Hindi लेकिन इसके मुख्य कारणों में आई बॉल का आकार सामान्य से अधिक छोटा होना है। कुछ मामलों में यह समस्या बच्चों को जन्मजात होती है, लेकिन जैसे-जैसे उनकी उम्र बढ़ती है यह समस्या अपने आप ही दूर हो जाती है। लेकिन अगर ऐसा नहीं हुआ तो इलाज की आवश्यकता पड़ती है। Farsightedness Meaning in Hindi
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दृष्टि का धुंधला होना, पास की वस्तुओं का धुंधला दिखाई देना, सिर में दर्द होना, कमजोरी और थकावट महसूस करना, आंखों पर दबाव पड़ना, बाइनोकुलर विजन होना, किसी भी वस्तु को गौर से देखने के लिए आंखें सिकुड़ना और गहराई को देखने में दिक्कत होना आदि हाइपरोपिया के मुख्य लक्षण हैं। अगर आपको Hyperopia Meaning in Hindi हाइपरोपिया है तो चश्मा, कॉन्टेक्ट लेंस या सर्जरी की मदद से इससे छुटकारा पा सकते हैं।
05. एस्टिग्मेटिज्म — Astigmatism Meaning In Hindi
आंखों में मौजूद लेंस और कॉर्निया का आकार गोल होता है, लेकिन जब किसी कारण से इनका आकार सामान्य से अधिक या कम गोल हो जाता है तो आंखों में जाने वाली रौशनी पूर्ण रूप से रेटिना पर केंद्रित नहीं होती है और एस्टिग्मेटिज्म की समस्या पैदा होती है। Astigmatism Definition in Hindi एस्टिग्मेटिज्म से पीड़ित मरीज को पास और दूर दोनों जगहों की वस्तुएं धुंधली दिखाई देती हैं।
ज्यादातर मामलों में एस्टिग्मेटिज्म बच्चों में पाया जाता है, लेकिन यह किसी भी उम्र के इंसान को हो सकता है। एस्टिग्मेटिज्म कई कारणों से होता है जैसे कि आनुवंशिक कारण, आंख में चोट लगना या जख्म होना, आंख की सर्जरी कराना, कम रौशनी में पढ़ाई करना, आंख से संबंधित किसी बीमारी से पीड़ित होना और लंबे समय तक मोबाइल, लैपटॉप और टेलीविजन स्क्रीन के सामने वक्त गुजारना आदि।
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Astigmatism Means in Hindi एस्टिग्मेटिज्म के लक्षणों में चक्कर आना, सिर में तेज दर्द होना, दृष्टि का धुंधला होना, आंखों में दबाव महसूस करना, वस्तु पर फोकस करने के लिए आंखों को सिकुड़ना या लगभग बंद कर देना और वस्तुओं के आकार को पाचनने में परेशानी होना आदि शामिल हैं।
आंखों में धुंधलापन का इलाज
आंखों में धुंधलापन Blurred Vision Meaning in Hindi का इलाज इसके कारणों के आधार पर तय किया जाता है। इलाज से पहले डॉक्टर आपके आंखों की जांच करते हैं। जांच की मदद से डॉक्टर आपकी आंखों का मूल्यांकन करते हैं और उसके आधार पर इलाज की प्रक्रिया का चुनाव करते हैं। आंखों के धुंधलेपन के आधार पर डॉक्टर इलाज के निम्नलिखित माध्यम का उपयोग कर सकते हैं:-
01. आंखों में धुंधलापन का कारण मोतियाबिंद होने पर
अगर आपके आंखों के धुंधलापन (Blindness Meaning in Hindi) का कारण मोतियाबिंद है तो डॉक्टर सर्जरी का उपयोग करते हैं। दवाओं या आई ड्रॉप से मोतियाबिंद का इलाज संभव नहीं है। सर्जरी ही इस समस्या का एकमात्र सफल इलाज है। मोतियाबिंद की सर्जरी के दौरान नेत्र रोग विशेषज्ञ खराब लेंस को बाहर निकालकर उसकी जगह एक कृत्रिम लेंस लगा देते हैं।
मोतियाबिंद की सर्जरी को पूरा होने में लगभग 20-40 मिनट का समय लगता है और यह पूरी तरह से सर्जरी के प्रकार पर निर्भर करता है। यह एक दिन की सर्जिकल प्रक्रिया है जिसके बाद मरीज को हॉस्पिटलाइजेशन की आवश्यकता नहीं पड़ती है। सर्जरी खत्म होने के कुछ घंटों के बाद मरीज को क्लिनिक से डिस्चार्ज कर दिया जाता है।
मोतियाबिंद की सर्जरी को कई तरह से किया जाता है, लेकिन फेम्टोसेकेंड कैटरैक्ट सर्जरी को मोतियाबिंद का बेस्ट इलाज माना जाता है। क्योंकि यह मोतियाबिंद का मॉडर्न और एडवांस इलाज है जिसकी सफलता दर लगभग 99% है। इस सर्जरी के दौरान मरीज को जरा भी दर्द या दूसरी किसी तरह की परेशानी नहीं होती है।
02. आंखों में धुंधलापन का कारण काला मोतियाबिंद होने पर
अगर काला मोतियाबिंद के कारण आपको चीजें धुंधली दिखाई देती है तो इसका इलाज करने के लिए डॉक्टर कुछ खास दवाओं और आई ड्रॉप का सुझाव दे सकते हैं। लेकिन जब इन सबसे कोई फयदा नहीं होता है तो सर्जरी का उपयोग किया जाता है।
काला मोतियाबिंद के कारण आंखों को जो नुकसान हो चूका है उसे ठीक नहीं किया जा सकता है, लेकिन इलाज की मदद से भविष्य में होने वाले नुकसान को अवश्य रोका जा सकता है।
03. आंखों में धुंधलापन का कारण मायोपिया, हाइपरोपिया और एस्टिग्मेटिज्म होने पर
अधिकतर मामलों में मायोपिया, हाइपरोपिया और एस्टिग्मेटिज्म के कारण आंखों में धुंधलापन की समस्या पैदा होती है। अगर आपके आंखों के धुंधलापन का कारण इन तीनों में कोई है तो डॉक्टर शुरूआती इलाज के तौर पर चश्मा या कॉन्टेक्ट लेंस का इस्तेमाल करने का सुझाव देते हैं। चश्मा या कॉन्टेक्ट लेंस की मदद से मायोपिया, हाइपरोपिया और एस्टिग्मेटिज्म को लक्षणों को दूर किया जा सकता है।
लेकिन जब इन दोनों से कोई फायदा नहीं होता है तो डॉक्टर लेसिक सर्जरी का सुझाव देते हैं। यह आंखों से चश्मा हटाने का बेस्ट उपाय है। लेसिक सर्जरी एक मॉडर्न और एडवांस सर्जिकल प्रक्रिया है जिससे मायोपिया, हाइपरोपिया और एस्टिग्मेटिज्म को हमेशा के लिए ठीक किया जा सकता है।
लेजर इन सीटू किरेटोमिल्युसिस को आम बोलचाल की भाषा में लेसिक सर्जरी के नाम से जाना जाता है। इस सर्जरी के दौरान नेत्र सर्जन कॉर्निया को एक नया शेप देते हैं जिसके बाद आंखों में जाने वाली रौशनी पूरी तरह से रेटिना पर केंद्रित होती है। नतीजतन, आपके आंखों का धुंधलापन दूर हो जाता है।
अगर आप आंखों के धुंधलेपन से परेशान हैं तो ज्त्यादा घबराने की आवश्यकता नहीं है। क्योंकि जांच के बाद डॉक्टर ऊपर दिए गए इलाज के तरीकों में से किसी एक का इस्तेमाल करके आपकी बीमारी का सटीक इलाज कर सकते हैं। जहां तक Cost of Blurry Vision In Hindi आंख के धुंधलेपन के खर्च का सवाल है तो यह पूरी तरह से इसके कारणों, गंभीरता और इलाज की प्रक्रिया पर निर्भर करता है।
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हमारे नेत्र रोग विशेषज्ञ को दृष्टि संबंधित बीमारियों की गहरी समझ और मॉडर्न लेजर सर्जरी में महारत हासिल है। ये डॉक्टर अब तक आंखों के धुंधलेपन की सैकड़ों सफल सर्जरी कर चुके हैं। अगर आप मात्र एक दिन में अपनी परेशानी से छुटकारा पाना और तेज एवं साफ दृष्टि हासिल करना चाहते हैं तो हमसे संपर्क करें।
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डिस्क्लेमर: यह ब्लॉग सामान्य जानकारी के लिए लिखा गया है| अगर आप किसी बीमारी से ग्रसित हैं तो कृपया डॉक्टर से परामर्श जरूर लें और डॉक्टर के सुझावों के आधार पर ही कोई निर्णय लें|