प्रिस्टीन केयर से टेस्टिकुलर टॉर्सन या अंडकोष की मरोड़ का प्रभावी इलाज प्राप्त करें। हमारे साथ भारत के कुछ सर्वश्रेष्ठ मूत्र रोग विशेषज्ञ जुड़े हुए हैं, जो वृषण मरोड़ का त्वरित एवं उत्तम इलाज प्रदान करने के लिए जाने जाते हैं। अभी अपने आस-पास के प्रिस्टीन केयर के सर्जन से अपॉइंटमेंट बुक करें और स्थिति का त्वरित इलाज प्राप्त करें।
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वृषण मरोड़ एक दुर्लभ चिकित्सा स्थिति है, जिसमें अंडकोष को रक्त प्रदान करने वाली शुक्राणु की कॉर्ड मुड़ जाती है और अंडकोष तक रक्त का प्रवाह रुक जाता है। यह समस्या किसी भी उम्र के व्यक्ति को प्रभावित कर सकती है। लेकिन यह समस्या 12 से 18 वर्ष की आयु के लड़कों को अधिक प्रभावित करती है। मूत्र रोग विशेषज्ञों (युरोलोजिस्ट) का मानना है कि अंडकोष की मरोड़ या फिर टेस्टिकुलर टॉर्सन एक दुर्लभ स्थिति है और यदि इस स्थिति से कोई व्यक्ति परेशान है, तो उसे जल्द से जल्द सर्वश्रेष्ठ इलाज लेने की सलाह दी जाती है।
वृषण मरोड़ के कारण अंडकोष में अचानक और तीव्र दर्द हो सकता है, जिसकी वजह से रोगी को सूजन, लालिमा और अंडकोष में कोमलता का अनुभव हो सकता है। गंभीर दर्द के साथ-साथ मतली, उल्टी, बुखार और अन्य लक्षण भी रोगी को परेशान कर सकते हैं।
टेस्टिकुलर टॉर्सन के दो मुख्य प्रकार हैं: अप्रत्याशित टेस्टिकुलर टॉर्सन और इंटरमिटेंट टेस्टिकुलर टॉर्सन। अप्रत्याशित टेस्टिकुलर टॉर्सन सबसे आम प्रकार का टेस्टिकुलर टॉर्सन है। यह तब होता है जब व्यक्ति को पहले से ही कोई स्वास्थ्य समस्या होती है, जिसके कारण अंडकोष अपना सामान्य काम नहीं कर पाता है। इस प्रकार के मरोड़ अक्सर अचानक और बिना किसी स्पष्ट कारण के हो जाते हैं। वहीं दूसरी तरफ इंटरमिटेंट टेस्टिकुलर टॉर्सन दुर्लभ प्रकार का वृषण मरोड़ है। यह तब होता है, जब अंडकोष बार-बार मुड़ जाता है। यह अक्सर युवा पुरुषों में होता है और खेल या अन्य शारीरिक गतिविधि के कारण हो सकता है।
अंडकोष की मरोड़ एक गंभीर स्थिति है, जिसके लिए तत्काल इलाज की आवश्यकता होती है। यदि इसका इलाज समय पर नहीं किया जाता है, तो अंडकोष तक रक्त की आपूर्ति नहीं हो पाती, जिसके कारण मृत्यु भी हो सकती है। इसके परिणामस्वरूप अंडकोष में गंभीर समस्या उत्पन्न हो सकती है और अंततः यह नपुंसकता का भी मुख्य कारण बन सकता है।
वृषण मरोड़ के इलाज के लिए सबसे उत्तम विकल्प सर्जरी है। भविष्य में होने वाली समस्याओं को रोकने के लिए सर्जन शुक्राणु को ले जाने वाले कॉर्ड का इलाज करते हैं। यदि प्रभावित अंडकोष का इलाज नहीं हो पाता है, तो डॉक्टर अंडकोष को निकालने का सुझाव भी दे सकते हैं।
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वृषण मरोड़ एक चिकित्सा स्थिति है, जिसके लिए त्वरित इलाज की आवश्यकता होती है। प्रभावित अंडकोष को किसी भी प्रकार के नुकसान से बचाने के लिए जल्द से जल्द जांच और स्थिति के इलाज की आवश्यकता होती है। वृषण मरोड़ के सामान्य लक्षण इस प्रकार हैं:
यदि आप इनमें से किसी भी लक्षण का सामना करते हैं, तो तुरंत चिकित्सा सहायता लें क्योंकि अंडकोष की मरोड़ एक आपात चिकित्सा स्थिति है, जिसमें प्रभावित अंडकोष के नुकसान को रोकने के लिए त्वरित निदान और इलाज की आवश्यकता होती है।
अंडकोष की मरोड़ की समस्या रोगी को तब परेशान करती है, जब अंडकोष के स्पर्म कॉर्ड आपस में मुड़ जाते हैं, जिससे अंडकोष तक रक्त संचार भी बंद हो जाता है। यदि वृषण मरोड़ का इलाज समय पर नहीं होता है, तो यह एक इमरजेंसी स्थिति बन सकती है। इसके कारण अंडकोष और आसपास के ऊतकों को नुकसान भी हो सकता है। चलिए जानते हैं कि अंडकोष की मरोड़ के पीछे के क्या क्या कारण है –
यहां यह याद रखना महत्वपूर्ण है कि कई परिस्थितियों में अंडकोष में मरोड़ का कारण पता ही नहीं चल पाता है। यदि आपके अंडकोष में अचानक तेज और गंभीर दर्द होता है, तो तुरंत चिकित्सा सहायता लें, क्योंकि इस स्थिति को नजरअंदाज करने से रोगी को अंडकोष पर दीर्घकालिक क्षति का सामना करना पड़ सकता है।
यदि किसी मरीज में वृषण मरोड़ के लक्षण दिखाई देते हैं, तो स्थिति की जांच के लिए डॉक्टर अंडकोष के शारीरिक परीक्षण का सुझाव देते हैं। वह स्थिति की पुष्टि करने और अन्य स्वास्थ्य समस्या की पहचान के लिए कुछ अन्य जांच का सुझाव भी दे सकते हैं। यहां कुछ अन्य नैदानिक परीक्षण भी दिए गए हैं, जो वृषण मरोड़ के इलाज से पहले किए जा सकते हैं:
हम आपको बार-बार बता रहे हैं कि यदि इस स्थिति का इलाज समय पर नहीं होता है, तो इसके कारण मरीज को बहुत सारी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। अंडकोष की मरोड़ के इलाज में देरी से अंडकोष को स्थायी नुकसान हो सकता है। यदि किसी भी व्यक्ति को अंडकोष में अचानक और गंभीर दर्द का अनुभव होता है, तो तुरंत चिकित्सा सहायता लें।
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वृषण मरोड़ एक इमरजेंसी मेडिकल कंडीशन है, जिसका प्रभाव आपको लंबे समय तक देखने को मिल सकता है। यदि अंडकोष की मरोड़ का इलाज जल्द से जल्द नहीं होता है, तो अंडकोष लंबे समय तक प्रभावित हो सकता है। प्रिस्टीन केयर इलाज के दौरान क्षतिग्रस्त अंडकोष में रक्त के प्रवाह को बहाल करने का कार्य करता है। अंडकोष की मरोड़ के इलाज के लिए निम्नलिखित तरीकों का प्रयोग किया जा सकता है –
यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि नॉन सर्जिकल इलाज से स्थिति में कुछ समय के लिए ही राहत मिल पाती है। जब वृषण मरोड़ के इलाज की बात आती है, तो सर्जरी एक महत्वपूर्ण और सटीक इलाज साबित हो सकता है। यदि कोई व्यक्ति दवाओं का प्रयोग कर सिर्फ दर्द को कम करने की योजना बना रहा है, तो भविष्य में अंडकोष में गंभीर समस्या उत्पन्न हो सकती है। यदि आपके अंडकोष में अचानक और गंभीर दर्द होता है, तो आपको तुरंत प्रिस्टीन केयर के सर्वश्रेष्ठ मूत्र रोग विशेषज्ञ से संपर्क करना चाहिए और इस समस्या का इलाज जड़ से प्राप्त करना चाहिए।
अंडकोष की मरोड़ सर्जरी एक सुरक्षित और प्रभावी प्रक्रिया है। इस सर्जरी के बहुत सारे लाभ हैं और यह सारे फायदे हर व्यक्ति के स्वास्थ्य के अनुसार अलग अलग हो सकते हैं। चलिए एक एक करके अंडकोष में मरोड़ के लाभ के बारे में जानते हैं –
यदि आप किसी भी कारणवश अंडकोष में समस्या का सामना कर रहे हैं, तो हम आपको सलाह देंगे कि जल्द से जल्द हमारे मूत्र रोग विशेषज्ञ से परामर्श लें।
अंडकोष में मरोड़ के सामान्य जोखिम और जटिलताएं इस प्रकार हैं:
अंडकोष में मरोड़ के इलाज के बाद हमेशा अपने स्वास्थ्य सेवा प्रदाता की बात सुननी चाहिए। यदि आप अपने डॉक्टर की बात सुनते हैं और उनके दिशा-निर्देशों का सावधानीपूर्वक पालन करते हैं, तो आप बिना किसी समस्या और जटिलता के दुरुस्त हो सकते हैं। इसके अतिरिक्त नीचे बताए गए निर्देशों का पालन कर आप फिर से अपने दैनिक गतिविधियों को शुरू कर सकते हैं –
यदि किसी भी प्रकार की समस्या आपको नजर आती है, तो आपके लिए लाभकारी होगा कि आप जल्द से जल्द अपने डॉक्टर से संपर्क करें और इलाज की योजना पर कार्य करें।
आमतौर पर अंडकोष में मरोड़ के साथ व्यक्ति को अंडकोष में अचानक और गंभीर दर्द, सूजन, लालिमा, या अंडकोष के सख्त होने जैसा महसूस होता है। कुछ मामलों में, इससे मतली और उल्टी भी हो सकती है।
आमतौर पर, वीर्य और टेस्टोस्टेरोन का उत्पादन करने के लिए एक अंडकोष पर्याप्त होता है। एक अंडकोष वाले पुरुष भी दो अंडकोष वाले पुरुषों जितना वीर्य उत्पन्न करते हैं। इसलिए यदि इलाज के दौरान यदि एक अंडकोष को निकाल भी लिया जाता है तो भी एक अंडकोष से कोई व्यक्ति संतान प्राप्ति कर सकता है।
यदि अंडकोष में मरोड़ का इलाज समय पर नहीं होता है, तो इससे अंडकोष स्थायी रूप से क्षतिग्रस्त हो सकता है या फिर इसका प्रभाव लंबे समय तक देखने को मिलता है।
अंडकोष में मरोड़ का खतरा सबसे ज्यादा उन लोगों में है, जिनके घर परिवार में किसी को यह समस्या हो। अंडकोष के क्षेत्र में किसी भी प्रकार की चोट अंडकोष में समस्या का कारण बन सकता है।
ऐसा होने की संभावना सबसे कम है। यदि एक अंडकोष खराब भी हो जाए तो नपुंसकता की समस्या व्यक्ति को परेशान नहीं करती है। ऐसे में वह प्रजनन संबंधित किसी भी समस्या से दूर रहता है।
अंडकोष में मरोड़ के इलाज से पहले, प्रक्रिया की बेहतर समझ के लिए अपने मूत्र रोग विशेषज्ञ से अपने मन के सभी प्रश्नों को पूछना चाहिए। लेकिन कुछ ऐसे प्रश्न है जिन्हें हमेशा पूछना चाहिए जैसे –
भारत में वृषण मरोड़ की सर्जरी का औसत खर्च लगभग 30,000 रुपये लेकर से 70,000 रुपये तक आ सकता है।